कल आज और कल
- ranvirsinghgulia
- May 11, 2021
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आज परिणाम है कल का
कल परिणाम होगा आज का
आज को सुंदर से सुन्दरतर
बनाने की चाह में
विकृत किया मानव ने
कल को पूर्व व पुनर्जन्मों में
स्वयं को जानने की चाह में
सृष्टि मन्त्र मिल गया राह में
स्वयं से जानो सृष्टि को
सृष्टि से जानो स्वयं को
श्रेष्ठतम ज्ञान ईश्वर को
बदल दिया निष्प्राण मूर्ति में
पूजा बनी पहचान भक्ति में
तत् त्वम् असि के तत् को
विकृत कर रचा परमात्मा को
त्वम् में खोज लिया आत्मा को
पुनर्जन्म हो या जन्म पूर्व का
आत्मा हो या परमात्मा
ऐसी की हैं कल्पना
न देखी हैं न कभी कोई देख पायेगा
पर व्यापर फलता फूलता जायेगा
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